गंगाराम में हुआ कोविड मरीज के व्हाइट फंगस का इलाज
| 5/27/2021 12:03:08 PM

Editor :- Mini

नई दिल्ली,
49 साल की महिला 13 मई 2021 को सर गंगा राम अस्पताल के इमरजेंसी में लाई गई। उसके पेट में असहनीय दर्द था एवं उल्टियों के साथ वह कब्ज़ से पीड़ित थी। कुछ समय पहले कैंसर की वजह से कुछ समय पले महिला का एक वक्ष या स्तन हटाया गया था और चार हफ्ते पहले कीमोथेरेपी खत्म हुई थी।
अस्पताल में भर्ती करने के समय महिला शॉक में थी एवं सांस लेने में उसे काफी कठिनाई हो रही थी। सी टी स्कैन करने पर मरीज के पेट में हवा एवं तरल द्रव्य का आभास हुआ जोकि आंतो में छेद की निशानी है।

डॉ. (प्रो.) अनिल अरोड़ा, चेयरमैन, इंस्टीट्यूट ऑफ लिवर, गैस्ट्रोएंटरोलॉजी एंड पैंक्रियाटिकोबिलरी साइंसेज, सर गंगा राम अस्पताल के अनुसार मरीज की हालत काफी नाजुक थी। हमने तुरन्त उसके पेट में पाइप डालकर करीब एक लीटर पस एवं बाइल द्रव्य निकला।
उसके बाद इमरजेंसी सर्जरी के लिए डॉक्टर समीरन नंदी की अध्यक्षता में बनी टीम द्वारा ऑपरेशन थिएटर ले जाया गया।
डॉ. (प्रो.) समीरन नंदी, एडवाइजर, डिपार्टमेंट ऑफ सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी एंड लीवर ट्रांसप्लांटेशन, सर गंगा राम अस्पताल के अनुसार चार घण्टे चली इस मुश्किल सर्जरी में हमने महिला की फूड पाइप, छोटी आंत एवं बड़ी आंत में हुए छेदो को बंद कर दिया एवं द्रवय लीक को रोक दिया गया। छोटी आंत में हुए गैंगरीन को भी काटकर निकाल दिया गया। आंत के एक टुकड़े को बायोप्सी के लिए भेज दिया।
डॉ. अरोड़ा के अनुसार आंत से निकाले गए टुकड़ो की बायोप्सी से हमें पता चला कि आंतो में व्हाइट फंगस है जिसने आंतो के अंदर खतरनाक फोड़ेनुमा घाव कर दिए थे जिसकी वजह से खाने की पाइप से लेकर छोटी आंत एवं बड़ी आंत में छेद हो गए थे। मरीज की कोविड-19 एंटीबॉडी लेवल भी बढे हुए थे। खून की जाँच करने पर शरीर के अंदर व्हाइट फंगस बढ़ा हुआ मिला। शीघ्र ही मरीज को ऐंटीफंगल ट्रीटमेंट पर शरू कर दिया गया जिससे उसकी हालत में काफी सुधार हुआ।
डॉ. अरोड़ा ने आगे बताया कि स्टेरॉयइड के इस्तेमाल के बाद ब्लैक फंगस के द्वारा आंत में छेद होने के कुछ मामले हाल ही में सामने आए है। परन्तु व्हाइट फंगस द्वारा कोविड-19 इन्फेक्शन के बाद खाने की नली, छोटी आंत एवं बड़ी आंत में छेद करने का मामला यह विश्वभर में पहला है। अभी तक व्हाइट फंगस द्वारा शरीर के अंदर तीन मुख्य भागों में कोविड-19 के बाद व्हाइट फंगस का मामला कहीं भी मेडिकल लिटरेचर में प्रकाशित नहीं हुआ। इसका कारण शायद मरीज की तीन अवस्थाएं थी जिससे उसके शरीर का बीमारी से लड़ने की क्षमता बहुत कम हो गयी थी। यह तीन अवस्थाएं थी कैंसर, हाल ही में दी गई कीमोथेरेपी एवं कोविड-19 इन्फेक्शन। इसकी वजह से व्हाइट फंगस जो कि सामान्यत: इतनी हानि नहीं पहुंचाता है, उसने भी हानिकारक रूप से मरीज के शरीर के अंदर काफी नुकसान पहुंचा दिया। इस वक्त मरीज सर्जरी के बाद ठीक है और कुछ दिनों के बाद उसकी अस्पताल से छुट्टी कर दी जाएगी।




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