सेहत संवाददाता
सलमान खान की फैन फॉलोविंग को सोमवार को एक बड़ा झटका लगा, अभी तक बजरंगी भाई जान की शादी का इंतजार कर रहे फैन्स के लिए उनकी बीमारी की घोषणा करना काफी आश्चर्यचकित रहा, सलमान खान ने द ग्रेट इंडिया कपिल शर्मा के शो पर इस बात की जानकारी फैन्स के साथ शेयर की कि वह दिमाग की तीन बीमारियों से जूझ रहे हैं, बावजूद इसके वह लगातार अपने काम में व्यस्त रहते हैं। यह बात सुनकर फैन्स को काफी थक्का लगा, लेकिन इसके साथ ही सभी ने उनके जल्दी ठीक होने की भी दुआ मांगी। दरअसल सलमान खान ब्रेन एंयूरिज्म, एवी माल फारमेशन और ट्राईजेमिनल न्यूराल्जिया से पीड़ित हैं। दिमाग की यह तीनों बीमारियां काफी गंभीर हो सकती हैं, यदि इनका सही समय पर इलाज न किया जाएं या बीमारी को समय रहते नियंत्रित न किया जाए।
ब्रेन एंयृरिज्म
दिमाग की इस बीमारी में दिमाग की अंदरूनी झिल्ली में सूजन आ जाती है या फिर वह फूल जाती है, दिमागी की अंदरूनी सतह कमजोर होने के कारण अकसर यह परेशानी होती है, क्योंकि झिल्ली का बाहरी हिस्सा कमजोर होता है, इसलिए इसका किसी भी समय फटने या रिसाव होने का खतरा बना रहता है। जिसे ब्रेन हैमरेज की स्थिति कहा जाता है। यदि रिसाव होता है तो उस स्थिति मे मरीज को तुरंत अस्पताल पहुंचाने की जरूरत होती है। मरीज का ब्लड प्रेशर बढ़ने या तनाव की स्थिति में भी ब्रेन हैमरेज हो सकता है। दिमाग पर किसी तरह की चोट लगने, सिगरेट का सेवन करने, संक्रमण होने या फिर परिवार में किसी को ब्रेन एंयूरिज्म की शिकायत होने पर हैमरेजिक अटैक का खतरा बढ़ जाता है।
हालांकि ब्रेन एंयूरिज्म के विशेष लक्षण नहीं होते, बावजूद इसके सिर में लगातार दर्द, माइग्रेन, धुंधला दिखाई देना, गर्दन में दर्द, एकाग्रता की कमी और सिजर या झटके इसके प्रमुख लक्षण माने जाते हैं। सीटी स्कैन और एमआरआई से बीमारी की पहचान आसानी से की जा सकती है। दिमाग की झिल्ली के इस फफोले का इलाज दो तरह से किया जाता है, झिल्ली के फटने से पहले और झिल्ली के फटने के बाद, यदि पहचान फटने से पहले हो जाती है तो सूजन वाले एरिया को क्लिप लगाकर रैप्चर किया जाता है। जबकि रैप्चर होने के बाद इसका इमरजेंसी में ही इलाज किया जाता है, जिससे प्लूड दिमाग के बड़े हिस्से में न फैले। ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखना, स्वस्थ दिनचर्या को इसका सटीक प्रीवेंशन बताया गया है।
क्या है एवी मालफारमेशन
इसे आर्टिअर वेनस मालफारमेशन भी कहा जाता है। जिसमें दिमाग में खून की नसों का गुच्छा सा बन जाता है, जिसमें आर्टिरिज और नसें भी शामिल होती है, जो कैपिलरी सा बहुत छोटी रक्त वाहिनी नसों को भी प्रभावित करती हैं। जिससे दिमाग में खून का सामान्य रक्त प्रवाह बाधित होता है। जिससे दिमाग के लिए ऑक्सीजन भी नहीं पहुंच पाती है। जिसकी वजह से कई तरह की स्वास्थ्य दिक्कतें हो सकती हैं। हालांकि एवीएम या नसों का गुच्छा बनना केवल दिमाग में ही नहीं शरीर किसी भी अंग में हो सकता है। जिसे वैरिकोज वेन्स भी कहा जाता है। लेकिन दिमाग में यह जानलेवा हो सकता है। ब्रेन एवीएम ब्रेन हैमरेज की वजह बन सकता है, जिससे फिट्स या झटके सहित अन्य कई तरह के न्यूरोलॉजिकल लक्षण सामने आते हैं। ब्रेन एंयूरिज्म की तरह ही एवीएम की पहचान भी रैप्चर होने के बाद ही होती है, लेकिन लक्षण के आधार पर जांच कराकर इलाज शुरू किया जा सकता है। लक्षण में लगातार सिर में दर्द, फेंडेड या बेहोशी, झटके या फिर सीजर, विजन और याद्दाश्त का कमजोर होना आदि शामिल हैं। न्यूरोसर्जन रैप्चर होने से पहले नसों के गुच्छों को सर्जरी कर ठीक करते हैं।
ट्राइजेमिनल न्यूराल्जिया क्या है
सलमान खान ने जिस तीसरे बीमारी का जिक्र किया उसे टीएन या ट्राइजेमिनल न्यूराल्जिया भी कहा जाता है, इस बीमारी में अत्यधिक दर्द होने के कारण से आत्महत्या को उकसाने वाला रोग भी माना गया है। अधिकतर सर्दियों में बाइक सवार जो सीधे ठंडी हवाओं के संपर्क में आते हैं, उसे यह दर्द होता है, कान के पीछे की हड्डी से होता हुआ दर्द सीधे दिमाग की नसों को प्रभावित करता है, कई बार दर्द से कहार रहे युवाओं मे चेहरे की विकृति भी देखी जाती है। कान के पीछे से होकर गुजरने वाली साफ्ट या मुलायम हड्डी जिसे ट्राइजेमिनल तंत्रिका भी कहते हैं के प्रभावित होने की वजह से इसका नाम टीआई पड़ा।

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